जैसा कि आप जानते ही होंगे कि उत्तराखंड राज्य अपनी प्राकृतिक सुन्दरता के लिए भी विश्व भर में जाना जाता है जिस वजह से देश विदेश के लाखों शैलानी प्रतिवर्ष यहाँ भ्रमण के लिए पहुँचते है | इसी बात को ध्यान में रखते हुए यह आर्टिकल लिखा जा रहा है जिसमें उत्तराखंड के Top 5 Tourist Places in Uttarakhand के बारे में बताया जाएगा जहाँ पर शैलानी आकर यहाँ की सुन्दरता को देखकर मन की शांति का अनुभव करते हैं |
यदि आप भी उत्तराखंड दर्शन के बारे में सोच रहे हैं तो उत्तराखंड आकर इन खूबसूरत जगहों में जाने का प्रयास अवश्य करें | यदि आप इन सभी खूबसूरत जगहों के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं तो इस आर्टिकल को अंत तक जरूर पढ़ें |
TOP 5 Tourist Places in Uttarakhand
- Nainital (नैनीताल)
- Mussoorie (मसूरी)
- Rishikesh (ऋषिकेश)
- Ranikhet (रानीखेत)
- Jim Corbet National Park (जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क)
1 – NAINITAL (नैनीताल)
Tourist Places in Uttarakhand : भारत के उत्तराखंड राज्य में विश्व प्रसिद्ध पर्यटन स्थल नैनीताल स्थित है तथा यह नैनीताल जिले का मुख्यालय भी है | नैनीताल शहर को सरोवर नगरी तथा झीलों का शहर के नाम से जाना जाता है और समुद्रतल से नैनीताल की ऊँचाई लगभग 1338 मीटर है | इस नगर के बीचोंबीच एक बहुत सुन्दर प्राकृतिक झील है, यह झील “नैनी झील” के नाम से जानी जाती है तथा यह तीन तरफ से 7 पहाड़ियों से घिरी हुई है | नैनीताल की खोज 1841 में पीटर बैरन के द्वारा की गयी थी |
BEST PLACE TO VISIT IN NAINITAL / नैनीताल में घूमने के स्थान
नैनीताल की सबसे ऊँची चोटी नैना पीक है जिसकी ऊँचाई समुद्र तल से 2611 मीटर है तथा मुख्य नगर से यह 5.5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है | यहाँ से पूरे नैनीताल को बस एक नजर में देखा जा सकता है और यहाँ से नैनीताल की खूबसूरती प्रत्येक पर्यटक के मन को मोह लेती है |
स्नो व्यू नैनीताल का बहुत ही आकर्षक स्थल है जिसकी ऊँचाई समुद्र तल से लगभग 2270 मीटर है | यहाँ जाने के लिए पैदल मार्ग है या फिर आप रोपवे की सहायता से भी यहाँ जा सकते हैं | यह भी समुद्रतल से काफी ऊँचाई पर है जहाँ से नैनीताल का नजारा वेहद ही खूबसूरत दिखाई देता है |
कैसे पहुचें नैनीताल ?
- वायुमार्ग (BY-AIR)
नैनीताल (Tourist Places in Uttarakhand) पहुँचने के लिए निकटतम हवाई अड्डा “पंतनगर हवाई” अड्डा है और पंतनगर से नैनीताल के बीच की दूरी लगभग 70 किलोमीटर है | पंतनगर पहुँचने के बाद नैनीताल के लिए आप टैक्सी या फिर स्थानीय बस का प्रयोग कर सकते हैं |
- रेलमार्ग (BY-TRAIN)
यहाँ पहुँचने के लिए निकटतम रेलवे स्टेशन काठगोदाम रेलवे स्टेशन है | काठगोदाम पहुचने के बाद नैनीताल जाने के लिए टैक्सी या स्थानीय बसों का प्रयोग किया जा सकता है |
- सड़कमार्ग (BY-ROAD)
नैनीताल सड़क मार्ग द्वारा उत्तराखंड के हर बड़े शहर से जुड़ा हुआ है इसलिए उत्तराखंड पहुँचने के बाद हर शहर से बसों की सुविधा उपलब्ध है, आप कहीं से भी नैनीताल के लिए बस या टैक्सी ले सकते हैं |
2 – MUSSOORIE (मसूरी)
Tourist Places in Uttarakhand : मसूरी एक पर्वतीय नगर है तथा देहरादून जिले में आकर्षण का केंद्र है ,यहाँ पर्यटक देश –विदेश से भ्रमण के लिए आते हैं तथा यहाँ की सुन्दरता की सराहना करते है | मसूरी को पहाड़ों की रानी के नाम से भी जाना जाता है | उत्तराखंड की राजधानी देहरादून से यह मात्र 35 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है और समुद्र तल से इसकी ऊँचाई लगभग 2005 मीटर है | कहा जाता है की मसूरी हिन्दुस्तान के सबसे पुराने हिल स्टेशन में से एक है |
मसूरी की खोज 1825 में “कैप्टन यंग” ने की थी और मसूरी की पहली इमारत 1827 में बनी थी जिसका नाम “मलिंगार होटल” था | मसूरी “गंगोत्री” और “यमुनोत्री” के मंदिरों का प्रवेश द्वार है | यहाँ की सबसे ऊँची पहाड़ी “गन हिल” है, जिसकी समुद्र तल से ऊँचाई 2122 मीटर है | यहाँ पहुँचने के लिए आपको बहुत ही कठिन चढ़ाई का सामना करना पड़ता है किन्तु वर्तमान समय में यहाँ रोपवे की सहायता से भी पंहुचा जा सकता है |
BEST PLACE TO VISIT IN MUSSOORIE
मसूरी (Tourist Places in Uttarakhand) के दर्शनीय स्थलों में कैम्पटी फाल, भट्टा फाल, हार्डी फाल, मैसी फाल, तोप टिब्बा, धनौल्टी,तिब्बती स्तूप,लंढौर बाज़ार तथा कुलड़ी बाजार प्रसिद्ध हैं |
कैम्पटी फाल मसूरी का प्रमुख आकर्षण का केंद्र है यह यमुनोत्री मार्ग पर मसूरी नगर से 15 किलोमीटर की दूरी पर स्थित एक विशाल जल प्रपात है जिसकी ऊँचाई 50 फुट है | यह एक प्राकृतिक झरना है |
कैसे पहुचें मसूरी ?
- वायुमार्ग
यहाँ पहुचने के लिए निकटतम हवाई अड्डा ” जौलीग्रांट हवाई अड्डा ” है जो की मसूरी से लगभग 58 किलोमीटर दूर स्थित है | इसके बाद आप टैक्सी या स्थानीय बसों का प्रयोग कर सकते हैं |
- रेलमार्ग
मसूरी पहुँचने के लिए अंतिम रेलवे स्टेशन देहरादून शहर में स्थित है जो की देश के कई प्रमुख रेलवे स्टेशन से जुड़ा हुआ है | देहरादून पहुँचने के बाद मसूरी जाने के लिए आप स्थानीय बसों या फिर टैक्सी का प्रयोग कर सकते हैं |
- सड़कमार्ग
देश की राजधानी दिल्ली के कश्मीरी गेट से यहाँ के लिए बसें चलती हैं तथा कई और प्रमुख शहरो से भी यहाँ के लिए सरकार द्वारा बसों की सेवा उपलब्ध करायी गयी है| उत्तराखंड के अनेक शहरों से भी मसूरी के लिए बसें चलती हैं |
3 – RISHIKESH (ऋषिकेश)
Tourist Places in Uttarakhand : ऋषिकेश, देहरादून जिले का उपनगर होने के साथ साथ यह एक प्रसिद्ध पर्यटन स्थल भी है | हरिद्वार से 24 किलोमीटर दूर यह नगर गंगा तथा चंद्रभागा नदियों के संगम पर स्थित है | प्राचीन काल में यह ऋषि मुनियों की तपस्थली हुआ करती थी | बर्तमान समय में यह एक हिन्दू तीर्थस्थल है तथा ऋषिकेश का शांत वातावरण कई विख्यात आश्रमों का गढ़ है |
कहा जाता है की ऋषिकेश में ध्यान लगाने से मोक्ष की प्राप्ति होती है, इसलिए विदेशी पर्यटक भी यहाँ ध्यान लगाने नियमित रूप से आते रहते हैं | यह नगर योग ज्ञान के लिए प्रसिद्ध है इसलिए यहाँ पर कई योगा स्कूल भी स्थित हैं जहा पर विद्या लेने कई देशी तथा विदेशी लोग आते हैं |
PLACE TO VISIT IN RISHIKESH / ऋषिकेश में भ्रमण के लिए स्थान
तपोवन, लक्ष्मण झूला, नीलकंठ महादेव, मुनि की रेती, शिवपुरी तथा कैलाश निकेतन मन्दिर यहाँ के प्रमुख दर्शनीय स्थल हैं |
तपोवन
तपोवन में लक्ष्मण जी ने तपस्या की थी, यह लक्ष्मण झूला के पास टिहरी जिले में स्थित है |
लक्ष्मण झूला
यह बद्रीनाथ – केदारनाथ प्राचीन मार्ग पर गंगा नदी के ऊपर 140 मीटर लम्बा एक झूला पुल है जो गंगा के एक किनारे को दुसरे किनारे से जोड़ता है | जब इस पुल के बीच में पहुचते हैं टू यह हिलता हुआ प्रतीत होता है जो कि पर्यटकों के लिए एक भ्रमण स्थल है |
नीलकंठ महादेव
नीलकंठ महादेव गंगा नदी के किनारे लक्ष्मण झूला से लगभग 8 किलोमीटर दूर एक शिव मन्दिर है | यह मंदिर स्वर्ग आश्रम की पहाड़ी पर स्थित है तथा यहाँ शंभू तथा निशम्भु पर्वत स्थित हैं | कहा जाता है की यहाँ पर भगवान् शिव ने समुद्र मंथन के समय निकला विष ग्रहण कर लिया था |
शिवपुरी
यह पर्यटन केंद्र ऋषिकेश (Tourist Places in Uttarakhand) से लगभग 15 किलोमीटर दूर है | शिवपुरी को रिवर राफ्टिंग का हब कहा जाता है, इसलिए यह केंद्र रिवर राफ्टिंग के लिए प्रसिद्ध है | यहाँ आकर राफ्टिंग के शोकिया लोग राफ्टिंग की ट्रेनिंग करते हैं तथा गंगा के सफ़ेद पानी में राफ्टिंग का लुफ्त उठाते हैं |
कैसे पहुचें ऋषिकेश ?
- वायुमार्ग
यहाँ पहुँचने के लिए निकटतम हवाई अड्डा ” जौलीग्रांट हवाई अड्डा ” है जो कि ऋषिकेश से लगभग 21 किलोमीटर दूर स्थित है | इसके बाद आप टैक्सी का प्रयोग कर सकते हैं |
- रेलमार्ग
ऋषिकेश पहुँचने के लिए अंतिम स्टेशन ऋषिकेश शहर में ही स्थित है, जो कि देश के कई प्रमुख रेलवे स्टेशन से जुड़ा हुआ है |
- सड़कमार्ग
देश की राजधानी दिल्ली के कश्मीरी गेट से यहाँ के लिए बसें चलती हैं तथा कई और प्रमुख शहरो से भी यहाँ के लिए सरकार द्वारा बसों की सेवा उपलब्ध करायी गयी है| उत्तराखंड के अनेक शहरों से भी ऋषिकेश के लिए बसें चलती हैं |
4 – RANIKHET (रानीखेत)
Tourist Places in Uttarakhand : अल्मोड़ा जिले का यह नगर रानीखेत एक प्रसिद्ध पर्यटक स्थल है जो की अल्मोड़ा शहर से लगभग 50 किलोमीटर दूर है | रानीखेत झूलादेव पर्वत सृंखला पर स्थित है | पर्यटन स्थल होने के साथ साथ यह एक छावनी नगर भी है और यहाँ KUMOUN REGIMENT का मुख्यालय एवं संग्रहालय है |
रानीखेत की ऊँचाई समुद्रतल से लगभग 6000 मीटर है , इसलिए यहाँ की हवा में बहुत ताजगी है | हरा भरा होने की बजह से यह नगर बहुत ही सुन्दर दिखाई देता है तथा यहाँ से हिमालय पर्वत सृंखला में बर्फ से बिछी सफ़ेद चादर को आसानी से देखा जा सकता है |आधुनिक रानीखेत की स्थापना अंग्रेजों द्वारा 1869 में की गयी थी |
मन कामेश्वर मन्दिर, हैडाखान मन्दिर, ताड़ीखेत, सीतलाखेत, मंजखाली, नागदेव ताल, शिव मन्दिर, कालिका मन्दिर तथा गोल्फ ग्राउंड रानीखेत के प्रसिद्ध पर्यटन स्थल हैं |
PLACE TO VISIT IN RANIKHET / रानीखेत के पास घूमने के स्थान
1 रानीखेत के पास दर्शनीय स्थल झूला देवी मन्दिर
रानीखेत शहर से 7 किलोमीटर दूर यह एक पवित्र एवं धार्मिक दर्शनीय स्थल है | इस मन्दिर में माँ दुर्गा की पूजा अर्चना की जाती है तथा स्थानीय लोगों के अनुसार पता चलता है की इस मन्दिर की बहुत अधिक मान्यता है क्योंकि बताया जाता है की यहाँ मांगी हुई मनोकामना अवश्य पूरी होती है |
माँ दुर्गा के झूला झूलने के बारे में एक कथा प्रचलित है की एक बार एक मनुष्य के स्वप्न में आकर माँ ने झूला झूलने की इच्छा जताई, उसके बाद स्थानीय लोगों ने माँ के लिए एक झुला तैयार कर उसमें माँ दुर्गा की प्रतिमा स्थापित कर दी |
2 रानीखेत के पास घुमने की जगह CHAUBATIA GARDEN (चौबटिया बाग़)
चौबटिया गार्डन अल्मोड़ा जिले में रानीखेत के पास स्थित है | इस गार्डन की दूरी रानीखेत से लगभग 10 किलोमीटर है और यह एशिया का सबसे बड़ा फलों का बागीचा होने के कारण पर्यटन का केंद्र बना है | यहाँ पर स्वादिष्ट सेब , आडू , पूलम तथा कई प्रकार के फलों का उत्पादन किया जाता है | चौबटिया गार्डेन में लगभग 36 किस्म के सेबों का उत्पादन होता है |
कैसे पहुचें रानीखेत ?
- वायुमार्ग [ FLIGHT ] के द्वारा रानीखेत कैसे पहुचें ?
रानीखेत पहुँचने के लिए रानीखेत का निकटतम हवाई अड्डा पंतनगर हवाई अड्डा है | रानीखेत और पंतनगर के बीच की दूरी लगभग 115 किलोमीटर है | पंतनगर से रानीखेत पहुचने के लिए टैक्सी की सुविधा होती है | पहाड़ी मार्ग होने के कारण इस दूरी को तय करने में लगभग 3 घंटे का समय लगता है | रानीखेत पहुचने के लिए स्थानीय बसों का प्रयोग भी किया जा सकता है |
- रेलमार्ग [ BY TRAIN ] द्वारा रानीखेत कैसे पहुचें ?
रानीखेत का निकटतम रेलवे स्टेशन काठगोदाम (जिला नैनीताल) रेलवे स्टेशन है जो कि रानीखेत से लगभग 85 किलोमीटर दूर है | यह रेलवे स्टेशन देश के बड़े शहरों से रेल मार्ग के द्वारा जुड़ा हुआ है| यहाँ पहुचने के बाद रानीखेत जाने के लिए आप बस और टैक्सी ले सकते हैं |
- सड़कमार्ग [BY-ROAD] द्वारा कैसे पहुचें रानीखेत ?
सड़कमार्ग द्वारा रानीखेत जाने के लिए आपको हल्द्वानी/काठगोदाम पहुचना होगा | यहाँ के लिए बसों तथा टैक्सी की सुविधा भारत के हर बड़े शहर से है | यहाँ पहुचने के बाद आपको फिर से रानीखेत के लिए टैक्सी या फिर बस लेनी पड़ेगी |
5 – CORBET NATIONAL PARK (कोर्बेट नेशनल पार्क)
JIM CORBET NATIONAL PARK UTTARAKHAND
Tourist Places in Uttarakhand : CORBET NATIONAL PARK (कोर्बेट नेशनल पार्क) की स्थापना 1936 में तत्कालीन गवर्नर सर हैली के नाम पर की गयी थी इसलिए इसका नाम हैली नेशनल पार्क भी है | यह भरता का ही नहीं अपितु सम्पूर्ण एशिया का प्रथम नेशनल पार्क है | स्वतंत्रता के बाद इसका नाम रामगंगा नेशनल पार्क भी रखा गया था लेकिन 1857 में महान प्रकृति प्रेमी जिम कॉर्बेट की स्मृति में इसका नाम JIM CORBET NATIONAL PARK कर दिया गया |
कोर्बेट नेशनल पार्क कहाँ है ? / CORBET NATIONAL PARK SITUATED/ LOCATED IN ?
यह नेशनल पार्क नैनीताल जिले के रामनगर में स्थित है, जो कि नैनीताल मुख्यालय से लगभग 144 किलोमीटर दूर है | नैनीताल जिले के रामनगर में ढिकाला में ही इसका प्रवेश द्वार बनाया गया है | यह क्षेत्र रामनगर नगरपालिका के काफी निकट है, तथा यहाँ आसानी से पंहुचा जा सकता है |
जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क कितनी दूर तक फैला हुआ है ? / JIM CORBET NATIONAL PARK AREA
जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क 520.82 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में फैला हुआ है | यह पौड़ी जिले में 312.76 वर्ग किलोमीटर तथा नैनीताल जिले में 208.8 वर्ग किलोमीटर विस्तृत है |
JIM CORBET NATIONAL PARK में जानवरों की कितनी प्रजातियाँ पायी जाती हैं ?
इस पार्क में पक्षियों की लगभग 570 प्रजातियाँ, 25 लगभग सरीसृप प्रजातियाँ व लगभग 75 प्रकार के स्तनधारी जीव पाए जाते हैं | मगरमच्छ, चीतल, शाम्भर, बाघ, हाथी, तेंदुआ , अजगर तथा हिरन यहाँ के मुख्य जीव हैं |
1 नवम्बर 1973 को इसे भारत का पहला बाघ संरक्षित क्षेत्र घोषित किया गया था | इस घोषणा के बाद यहाँ शेरों की संख्या में काफी बढ़ोत्तरी हुई |
कैसे पहुचें जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क ?
- वायुमार्ग [ BY-AIR ]
JIM CORBET NATIONAL PARK FROM DELHI
कॉर्बेट नेशनल पार्क के निकटतम हवाई अड्डा “पंतनगर हवाई अड्डा” है जो की रामनगर से लगभग 81 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है | पंतनगर से रामनगर के लिए आपको टैक्सी या बस के द्वारा जाना पड़ेगा |
- रेलमार्ग [ BY-TRAIN ]
कॉर्बेट नेशनल पार्क के निकटतम रेलवे स्टेश रामनगर में ही स्थित है | यहाँ पर दिल्ली से मुरादाबाद फिर मुरादाबाद से रामनगर तक रेल के द्वारा पंहुचा जा सकता है |
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उम्मीद करते हैं कि उत्तराखंड के पर्यटन स्थल (Tourist Places in Uttarakhand) से सम्बंधित उपरोक्त जानकारी आपको पसंद आई होगी क्योंकि इस आर्टिकल के जरिये हमने TOP 5 Tourist Places in Uttarakhand के बारे में बताया है जो उत्तराखंड आने वाले tourist के लिए लाभदायक हो सकता है | यदि आपको यह आर्टिकल पसंद आया हो तो इसे ज्यादा से ज्यादा शेयर कीजिये |
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